जयपुर । भारत ने अपनी आजादी का अमृत महोत्सव बड़ी धूमधाम से मना रहा हैं। भारतवंशी दुनिया के किसी भी कोने में जहां भी रहते हैं उन्होंने भी अमृत महोत्सव को मनाया और तिरंगा फहराया। लेकिन आपको जानकर हैरानी होगी कि भारत जोड़ो यात्रा निकाल रही कांग्रेस का कहना है कि यह अमृत काल नहीं अमरूद काल है। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और इन दिनों गांधी परिवार के करीबी जयराम रमेश ने सवाई माधोपुर में मीडिया से बातचीत में कहा कि मुझे अमृत नहीं काल नहीं अमरूद काल लग रहा है।
कांग्रेस को यहां समझना होगा कि अमृत काल देश की आजादी का है ना कि मोदी सरकार का लेकिन कांग्रेस को कई बार मोदी विरोध में इस बात का ध्यान ही नहीं रहता कि वह देश विरोध की स्थिति में पहुँच जाती है।
कांग्रेस नेता रमेश ने एक ही विवादित बयान दिया ऐसा नहीं है। जब जयराम से सवाल पूछा गया कि क्या कोई महिला मुख्यमंत्री भी हो सकती है तब उन्होंने कह दिया कि चुनाव कोई सौंदर्य प्रतियोगिता नहीं है। हालांकि रमेश ने जिस तरह यह बात कही उसमें वह यह बता रहे थे कि क्यों कांग्रेस चुनावों से पहले मुख्यमंत्री उम्मीदवार नहीं घोषित करती है लेकिन फिर भी जयराम रमेश के बयान पर विवाद खड़ा हो गया है।
दरअसल रमेश ने सीएम अशोक गहलोत और पूर्व उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट के बीच सत्ता को लेकर रस्साकशी पर कहा कि राजस्थान में कोई राजनीतिक लड़ाई नहीं है बल्कि सिर्फ कुछ मतभेद हैं। उन्होंने कहा दोनों (गहलोत और पायलट) के अलग-अलग अनुभव एवं क्षमताएं हैं दोनों ही शिमला में राहुलजी के साथ थे…एक नया उत्साह है…कांग्रेस एकजुट है।
यह पूछने पर कि क्या कांग्रेस राजस्थान में अगले चुनाव में किसी महिला को मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार के लिए उतार सकती है उन्होंने कहा ‘‘यह संभव है। हमारी प्राथमिकता है कि कांग्रेस जीत जाए। हमारे देश में हमारी राजनीतिक व्यवस्था में चुनाव मुझे खेद है कि मैं एक शब्द का इस्तेमाल करूंगा…वे व्यक्तित्वों के बीच सौंदर्य प्रतियोगिता नहीं हैं।’’
उन्होंने कहा हमारे चुनाव पार्टियों के बीच होते हैं और विचारधाराओं घोषणापत्रों और पार्टियों के प्रतीकों पर लड़े जाते हैं। मुख्यमंत्री कौन बनेगा यह चुनाव के बाद ही पता चलेगा। एक या दो बार को छोड़कर कांग्रेस ने 99 प्रतिशत मौके पर मुख्यमंत्री पद के किसी उम्मीदवार की घोषणा नहीं की है क्योंकि हमारा मानना है कि यह पार्टियों के बीच की लड़ाई है।’’ रमेश ने कहा कि कांग्रेस चाहती है कि जनादेश पार्टी के लिए हो न कि किसी एक व्यक्ति के लिए।