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नायडू ने सुरक्षा बलों की क्षमता बढ़ाने का किया आह्वान, जनता के अनुकूल बने पुलिस व्यवस्था

नई दिल्लीः उप राष्ट्रपति एम. वेंकैया नायडू ने आतंकवाद, उग्रवाद और माओवाद जैसी मौजूदा समय की चुनौतियों से निपटने के लिए सुरक्षा बलों की क्षमता बढ़ाने का आह्वान करते हुए शनिवार को कहा कि पुलिस व्यवस्था को जनता के अनुकूल बनाया जाना चाहिए।

नायडु ने स्मार्ट पुलिसिंग पर आयोजित एक राष्ट्रीय सेमिनार को संबोधित करते हुए कहा कि पुलिस प्रणाली के केंद्र में आमजन होने चाहिए और पुलिस थानों में जनता के साथ मित्रवत् व्यवहार किया जाना चाहिए। सेमिनार का आयोजन इंडियन पुलिस फाउंडेशन, नेशनल सेंटर फॉर गुड गवर्नेस और पुलिस अनुसंधान एवं विकास ब्यूरो ने किया था। उन्होंने कहा कि पुलिस का आमजनता के अनुरुप बनाने लिए पुलिस प्रणाली में अंदरुनी बदलाव किये जाने चाहिए और पुलिस थानों का माहौल सुधारा जाना चाहिए।

आतंकवाद, उग्रवाद और माओवाद का जिक्र करते हुए उन्होेंने कहा कि पुलिस थानों का माहौल सुधारने के लिए वरिष्ठ अधिकारियों को पहल करनी होगी। उन्होंने कहा कि ‘बुलेट से बैलेट’ ज्यादा शक्तिशाली है। पुलिस को यह तथ्य समझना होगा। उन्होंने कहा कि आतंकवाद मानवता का दुश्मन है और इससे निपटते समय राष्ट्र की सुरक्षा में कोई ढील नहीं दी जानी चाहिए। ऐसी समस्याओं से निपटने के लिए राज्य पुलिस और केंद्रीय सशस्त्र बलों की क्षमता बढ़ाई जानी चाहिए जिससे वे मौजूदा चुनौतियों का सफलता पूर्वक सामना कर सके। उन्होंने कहा कि देश के आर्थिक विकास के लिए कानून – व्यवस्था बने रहना आवश्यक है।

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