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गठिया के होने पर क्या खाएं और क्या नहीं, एक्सपर्ट्स से जानें हर चीज

गठिया की दिक्कत एक आम समस्या बन गई है. आजकल औरतों में ये दिक्कत ज्यादा देखने को मिल रही है. इसमें जोड़ों में दर्द, जकड़न और सूजन जैसी समस्याएं होती हैं. गठिया सिर्फ जोड़ों तक सीमित नहीं होती है. बल्कि इसकी दिक्कत होने पर बॉडी के कई पार्ट्स इफेक्टिड हो सकते हैं. जैसे लंग्स, आंखें, किडनी, हार्ट, सुनने की क्षमता सबसे पर असर पड़ सकता है. पहले जहां ये समस्या 40 उम्र के बाद सुनने को मिलती थी, लेकिन अब जिस तरह से लोगों का लाइफस्टाल हो रहा है, ऐसे में ये कम उम्र के लोगों को भी हो रही है.

गठिया होने पर बैठना और चलना तक मुश्किल हो जाता है. इसके लिए आपको जिदंगीभर दवाई खानी पड़ सकती है. हालांकि, कुछ देसी और घरेलू उपचार से आप इससे कुछ हद तक राहत पा सकती हैं. अगर आप भी गठिया के दर्द से जूझ रही हैं तो ये आर्टिकल आपके लिए ही है. यहां हमने एक्सपर्ट से जानेंगे कि कैसे गठिया से राहत पा सकते हैं.

क्या कहती हैं एक्सपर्ट?

AIIMS की सीनियर डॉ. ऊमा कुमार का कहना है कि, गठिया की समस्या पहले 45 से 50 साल के लोगों में देखने को मिलती थी. लेकिन अब ये किसी भी उम्र के लोगों को हो रही है और इसकी सबसे बड़ी वजह है जोड़ों का सही तरीके से इस्तेमाल न करके एब्नॉर्मल तरीके से अपने जॉइंट्स को यूज करना. बहुत लंबे समय तक लैपटॉप और मोबाइल फोन का इस्तेमाल करना. हाई हील्स पहनना और एक्सरसाइज न करना.

किस उम्र में होता है अर्थराइटिस ?

डॉक्टर ऊमा कुमार बताती हैं कि, अर्थराइटिस की दिक्कत किसी भी उम्र में हो सकती है. ये दिक्कत नवजात शिशु से लेकर बुजुर्गों तक में हो सकती है. लेकिन आज कल की जेनेरेशन में कमर में दर्द, गर्दन में दर्द, हाथों में दर्द और उंगलियों तक में दर्द होता है. इसकी सबसे बड़ी वजह है मोबाइल फोन का इस्तेमाल करना. इससे उंगलियों की पोजिशन बिगड़ जाती है, जो दर्द का कारण बनती है.

अर्थराइटिस होने पर क्या खाएं और क्या नहीं?

डॉक्टर ऊमा कुमार बताती हैं कि, हम घर का खाना खाकर ही बड़े हुए हैं. ऐसे में बचपन से ही घर का खाना खाने की ही आदत डालें. आईसीमीआर ने एक डॉक्युमेंट रिलीज किया था, जिसमें उन्होंने मेंशन किया था की कलरफुल थाली की खाएं. यानी जिसमें, फ्रूट्स हो, सब्जियां और दालें और मिल्क से बने प्रोड्क्ट शामिल हो. इसके अलावा दाल, रोटी चावल और घी जैसी चीजों का सेवन करें. मैं सप्लीमेंट लेने की सलाह नहीं देती हूं.

बाहर के खाने से परहेज करें, क्योंकि इसमें ट्रांसफैटी एसिड होते हैं,जो केंसर तक का खतरा बढ़ाते हैं. इसके साथ ही एक्सरसाइज को अपने डेली रूटीन में जरूर शामिल करें. रोजाना योगा करें और अच्छी डाइट लें और 6 से 8 घंटे की नींद जरूर लें. क्योंकि अगर आप नींद पूरी नहीं करते हैं तो इससे बॉडी पर बुरा असर पड़ता है, जिससे बॉडी में ऑक्सीडेटिव इस्ट्रेस हो जाता है. इससे इंफ्लामेश बढ़ता है और इससे गठिया बढ़ता है बल्कि डायबिटिज और हार्ट से जुड़ी बीमारियों का खतरा भी बढ़ जाता है.

गठिया होने पर बॉडी क्या -क्या संकेत देती है ?

दर्द के साथ -साथ अगर और भी लक्षण दिखें तो डॉक्टर से सलाह जरूर लेनी चाहिए. जैसे दर्द के साथ बुखार आना, मुंह में छाले होना, बहुत ज्यादा बाल झड़ना, चेहरे पर रेशेज होना, अगर किसी महिला को सांस फूलने जैसी समस्या है तो अर्थराइटिस की दिक्कत हो सकती है. इसके अलावा अगर जोड़ों में दर्द के साथ ही सूजन और रेडनेस भी आ रही है तो आपको तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए.

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