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छत्तीसगढ़

इंजीनियर, युद्ध कला में माहिर… कौन था 1.5 करोड़ का इनामी नक्सली बसवराजू, जो मुठभेड़ में हुआ ढेर?

छत्तीसगढ़ के नारायणपुर में सुरक्षा बलों और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ की खबर है. सुरक्षा बलों और नक्सलियों के बीच ये मुठभेड़ आज हुई और अब भी जारी है. इस मुठभेड़ 26 से ज्यादा नक्सली मारे गए हैं. इस दौरान एक जवान भी शहीद हो गया है. जानकारी के अनुसार, सुरक्षा बलों और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ में नक्सली नंवबल्ला केशव राव उर्फ बसवराजू को भी मार गिराया गया है. वो नक्सली संगठन के महासचिव था. DRG के जवानों ने उसे ढेर किया.

बसवराजू पिछले 35 सालों से माओवादी संगठन की केन्द्रीय कमेटी का मेंबर है. सरकार ने उस पर करीब डेढ़ करोड़ रुपए का इनाम रखा था. बसवराजू श्रीकाकुलम जिले के जियन्नापेटा गांव का निवासी था. उसकी उम्र 70 साल थी. बसवराजू नवंबर 2018 से CPI माओवादी संगठन के महासचिव के पद पर था. बताया जाता है कि उसके पास हमेशा एके 47 रायफल होती थी. उसकी सक्रियता छत्तीसगढ़, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना और महाराष्ट्र के इलाकों में थी.

बसवराजू ने वारंगल से इंजीनियरिंग की पढ़ाई की

बसवराजू ने 24 सालों से पोलित ब्यूरो के मेंबर के रूप में अपना काम चालू रखा था. उसने पार्टी के केंद्रीय सैन्य आयोग के प्रभारी के तौर पर भी काम किया. बसवराजू ने वारंगल से इंजीनियरिंग की पढ़ाई की. उसने रिजनल इंजीनियरिंग कॉलेज वारंगल से बीटेक किया. बताया जाता है कि साल 1970 में उसने अपना घर छोड़ दिया था.

बसवराजू को युद्ध की कला आती थी. बसवराजू सैन्य कमान संभालता और आक्रामक हमले करता, इसके लिए उसे जाना जाता था. हमलों की प्लानिंग बनाने में भी वो माहिर था. उसे नंवबल्ला केशव राव गनगन्ना, विजय, दरपू नरसिम्हा रेड्डी, नरसिम्हा, प्रकाश, कृष्णा आदि नामों से भी जाना जाता था.

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