बंगाल वोटर लिस्ट पर दिल्ली की ‘पैनी नजर’! SIR चेकिंग के लिए तैनात होंगे 4,000 सूक्ष्म पर्यवेक्षक; गड़बड़ी रोकने के लिए केंद्र का कड़ा एक्शन

पश्चिम बंगाल में वोटर लिस्ट के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) की प्रक्रिया चल रही है. चुनाव आयोग अब राज्य में वोटर्स की ओर से जमा किए गए फॉर्म की जांच कर रहा है. आयोग यहां पर जांच का काम बेहद सतर्कतापूर्वक कर रहा है. अब इसके लिए आयोग एक नई व्यवस्था के तहत केंद्र सरकार के अधिकारियों को सूक्ष्म पर्यवेक्षकों (Micro Observers) के रूप में तैनात करने जा रहा है.
चुनाव आयोग से जुड़े अधिकारियों ने कल शुक्रवार को इस बारे में जानकारी देते हुए बताया कि सूक्ष्म पर्यवेक्षण के लिए ग्रुप- बी या उससे ऊपर के अफसरों का एक डेटाबेस तैयार किया जा रहा है. मुख्य चुनाव अधिकारी (सीईओ) ऑफिस के एक अधिकारी ने कहा, “ये सूक्ष्म पर्यवेक्षक बीएलओ की ओर से अपलोड किए गए गणना फॉर्मों की डिजिटल रूप से जांच करेंगे. साथ ही वोटर्स की ओर से जमा कराए गए दस्तावेजों की भी जांच करेंगे और किसी भी गड़बड़ी की पहचान करने के लिए सुनवाई की कार्यवाही का निरीक्षण करेंगे.”
स्पेशल ड्यूटी के लिए होगा भुगतानः CEO
उन्होंने यह भी कहा कि माइक्रो पर्यवेक्षक बनाए गए अफसर मतदाता सूची पर्यवेक्षकों (Electoral Roll Observers) और विशेष मतदाता सूची पर्यवेक्षकों (Special Electoral Roll Observers) की भी सहायता करेंगे. उन्होंने आगे कहा कि जिला मजिस्ट्रेट सूक्ष्म पर्यवेक्षकों को सभी तरह की जरुरी लॉजिस्टिक सपोर्ट और सुरक्षा मुहैया कराएंगे. इसके अलावा 16 फरवरी तक उनकी इस सेवा के लिए उचित भुगतान भी किया जाएगा.
केंद्र से कितने अफसरों की होगी तैनाती
मुख्य निर्वाचन अधिकारी (सीईओ) मनोज कुमार अग्रवाल ने कहा कि सूक्ष्म पर्यवेक्षक जल्द ही पश्चिम बंगाल पहुंचेंगे. यह पूछे जाने पर कि कितने अधिकारियों को सूक्ष्म पर्यवेक्षक के रूप में नियुक्त किया जाएगा, इस पर उन्होंने कहा कि इसे बाद में सार्वजनिक किया जाएगा.
मनोज अग्रवाल ने कहा, “सूक्ष्म पर्यवेक्षक कई बैच में पश्चिम बंगाल आएंगे और इसी महीने से काम करना शुरू कर देंगे.” एक अन्य अधिकारी ने कहा कि सूक्ष्म पर्यवेक्षक क्रिसमस के बाद की सुनवाई में भी शामिल होंगे. करीब 3,000 सूक्ष्म पर्यवेक्षक नियुक्त किए जा सकते हैं.






