कोरोना काल में पाकिस्तान में शारीरिक परीक्षा के विरोध में इकट्ठा हुए प्रदर्शनकारी, पुलिस ने किया बल प्रयोग

इस्लामाबाद। पाकिस्तान में कक्षा 9 से 12वीं की परीक्षा को इस महीने के बाद शुरू करने के फैसले से नाराज लोगों ने राजधानी इस्लामाबाद में विरोध-प्रदर्शन किया। इस दौरान परीक्षा का विरोध करने के लिए काफी संख्या में लोग इकट्ठा हुए। लोगों को तितर-बितर करने के लिए पुलिस ने बल प्रयोग किया। इस दौरान काफी संख्या में छात्रों को हिरासत में भी लिया गया है, हालांकि, बाद में उन्हें रिहा कर दिया गया।
प्रदर्शनकारियों ने शिक्षा मंत्री शफकत महमूद के इस्तीफे की मांग की
दरअसल, कोरोना काल में इस महीने आयोजित होने वाली परीक्षा का विरोध करने के लिए आज उच्च शिक्षा आयोग कार्यालय के बाहर इकट्ठा हो गए थे। डॉन ने वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक डॉ मुस्तफा तनवीर के हवाले से बताया कि वे व्यक्तिगत परीक्षा का विरोध कर रहे थे और साथ ही शिक्षा मंत्री शफकत महमूद के इस्तीफे की मांग कर रहे थे। साथ ही बताया कि उन्हें यातायात के लिए सड़क खाली करने के लिए बल प्रयोग करने के लिए कहा था।
बता दें कि इस दौरान पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को तितर-बितर करने और यातायात के लिए सड़क खाली करने के लिए बल प्रयोग किया और लगभग एक दर्जन छात्रों को हिरासत में लिया हालांकि, जिन्हें बाद में रिहा कर दिया गया। डॉन ने बताया कि हाल के महीनों में देशभर में इस तरह के कई विरोध प्रदर्शन हुए हैं क्योंकि कोरोना महामारी ने शैक्षिक गतिविधियों को प्रभावित किया है।
गौरतलब है कि मई में फैजाबाद में ऑनलाइन परीक्षा की मांग को लेकर विरोध प्रदर्शन कर रहे छात्रों को तितर-बितर करने के लिए पुलिस कार्रवाई के दौरान भी एक दर्जन से अधिक प्रदर्शनकारियों को गिरफ्तार किया गया था इस दौरान कई मोटरसाइकिलें जब्त की गई थी। प्रदर्शनकारी छात्रों ने सरकार, शिक्षा मंत्री और शिक्षा विभाग के अन्य अधिकारियों के खिलाफ नारेबाजी की।
अधिकारियों के अनुसार, इस दौरान कुछ छात्र हिंसक भी हो गए थे। प्रदर्शनकारियों को तितर-बितर करने के लिए पुलिस ने लाठीचार्ज किया। इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने जवाबी कार्रवाई करते हुए पुलिस पर पथराव किया।






