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धोनी को लेकर बोले सचिन और गांगुली, कही ये बड़ी बात

मैनचेस्टर: आईसीसी क्रिकेट विश्व कप के सेमीफाइनल में बुधवार को भारतीय टीम न्यूज़ीलैंड के हाथों हार कर प्रतियोगिता से बाहर हो गई। टीम इंडिया की शुरूआत देखकर लग रहा था कि यह टीम इंडिया की सबसे बड़ी हार में से एक हो सकती है लेकिन फिर जडेजा और महेंद्र सिंह धोनी ने मोर्चे को संभाला और मैच को जीत की तरफ बढ़ाते चले गए। एक समय तक तो ये लगने लग रहा था कि धोनी सेमीफाइनल भारत की झोली में डाल देंगे। लेकिन उनके रन आउट होते ही मैच फिर से पलट गया और भारत को न्यूज़ीलैंड ने 18 रनों से हराकर फाइनल के लिए अपना रास्ता साफ कर दिया।

भारत की इस हार के बाद पूर्व कप्तान सौरव गांगुली और वीवीएस लक्ष्मण ने कहा कि भारत ने न्यूजीलैंड के खिलाफ विश्व कप सेमीफाइनल में महेंद्र सिंह धोनी को सातवें नंबर पर उतारकर भारी गलती की। हार्दिक पंड्या और दिनेश कार्तिक को धोनी से पहले भेजा गया जब भारत के चार विकेट 24 रन पर निकल गए थे। लक्ष्मण ने कहा, ‘‘ धोनी को पंड्या से पहले भेजा जाना चाहिये था । यह भारी तकनीकी चूक थी । धोनी को दिनेश कार्तिक से पहले आना चाहिये था। 2011 में वह युवराज सिंह की जगह चौथे नंबर पर आये और विश्व कप जिताया।’’

गांगुली ने कहा कि बात सिर्फ धोनी की बल्लेबाजी की नहीं बल्कि दूसरे छोर पर युवा बल्लेबाजों पर उनके प्रभाव की भी थी। ऋषभ पंत और पंड्या खराब शाट खेलकर आउट हुए। गांगुली ने कहा, ‘‘ भारत को उस समय अनुभव की जरुरत थी। पंत के क्रीज पर रहने के समय धोनी साथ होते तो उसे हवा के विपरीत वह शाट नहीं खेलने देते। इंग्लैंड में यह काफी अहम है।’’ उन्होंने कहा,‘‘ धोनी को ऊपर भेजना चाहिये था। आपको उसके शांत स्वभाव की उस समय जरुरत थी । वह रहते तो ऐसे विकेट नहीं गिरते। जडेजा की बल्लेबाजी के समय धोनी थे और दोनों का तालमेल गजब का था । सातवें नंबर पर धोनी को भेजना गलत था ।’’

सचिन तेंदुलकर ने कहा ,‘‘ सवाल यह है कि ऐसे हालात में क्या आपको अनुभव के आधार पर धोनी को ऊपर नहीं भेजना चाहिये था। आखिर में वह लगातार जडेजा से बात करता रहा और हालात उसके नियंत्रण में थे।’’  उन्होंने कहा, ‘‘ हार्दिक की जगह धोनी को ऊपर भेजना चाहिये था । कार्तिक को पांचवें नंबर पर भेजना समझ से परे था।’’  गांगुली ने कहा,‘‘ चयनकर्ता पिछले डेढ़ साल में मध्यक्रम का संयोजन नहीं बना सके। हर बार रोहित और विराट पर निर्भर नहीं रह सकते।’’

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